ऐसी अक्षरे

:- कथा
:- कविता
:- लेख
:- अनुवाद
:- हिंदी
:- English
:- संग्रह
:- इतर

मंदार शिंदे
Mandar Shinde

Thursday, September 1, 2022

Why this veil?

दोस्ती का पर्दा है बेगानगी
मुँह छुपाना हम से छोड़ा चाहिए

- मिर्ज़ा ग़ालिब



कशास लपविशी तोंड, संशय लोक, घेती पुन्हा-पुन्हा
अशीच येऊन भेट, जशी तू थेट, भेटीशी इतरेजना

- अक्षर्मन


 



Share/Bookmark

No comments:

Post a Comment